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जिम्मेदारियाँ और हमारी जिंदगी - राजू की कहानी: बारिश, बचपन और जिम्मेदारियों का बोझ.

राजू की कहानी: बारिश, बचपन और जिम्मेदारियों का बोझ | भावनात्मक हिंदी कहानी

बारिश की बूँदें जब धरती को चूमती हैं, तो हर दिल बेपरवाह होकर भीगना चाहता है। ऐसा ही कुछ अरमान था छोटे राजू के दिल में। उसकी उम्र मुश्किल से दस साल होगी, पर उसके कंधों पर जिम्मेदारियों का बोझ किसी बड़े आदमी से कम न था। सुबह होते ही वह अपनी चाय की दुकान पर पहुँच जाता, जहाँ धुएँ और चाय की खुशबू में उसका बचपन कहीं खो सा गया था।

आज सुबह से ही बादल घिरे हुए थे और ठंडी हवा चल रही थी। राजू का मन कर रहा था कि वह भी अपने दोस्तों की तरह बारिश में कूदे, कागज़ की नाव तैराए और मिट्टी की सौंधी खुशबू में खो जाए। उसकी आँखों में एक पल के लिए चमक आई, जब एक बूँद उसके गाल पर गिरी। लेकिन तभी उसे याद आया, "बारिश में बेपरवाह भीगना चाहता है ये दिल, पर जिम्मेदारियाँ बीमार होने की इजाज़त नहीं देतीं।"

उसकी माँ बीमार रहती थी और घर का सारा खर्च उसी की छोटी सी दुकान से चलता था। एक दिन की भी छुट्टी का मतलब था, घर में चूल्हा न जलना। वह जानता था कि अगर वह बीमार पड़ गया, तो उसकी माँ और छोटी बहन का क्या होगा। इसलिए, जब भी बारिश आती, उसका दिल तो मचल उठता, पर उसके हाथ चाय बनाने में और तेज़ी से चलने लगते।

आज भी वही हुआ। जैसे ही बारिश तेज़ हुई, लोग उसकी दुकान पर चाय पीने के लिए आने लगे। राजू ने अपने गीले हाथों से चाय बनाई, हर कप में अपने सपनों को घोलते हुए। उसकी नज़रें बाहर बारिश में खेल रहे बच्चों पर थीं, पर उसके होंठों पर एक फीकी सी मुस्कान थी। उसे पता था कि उसका बचपन बारिश में भीगने के लिए नहीं, बल्कि अपने परिवार को सूखे में रखने के लिए है।

शाम ढल चुकी थी, बारिश रुक गई थी। आसमान साफ हो गया था और एक इंद्रधनुष निकला था। राजू ने दुकान बंद की और घर की ओर चल पड़ा। रास्ते में उसने एक गहरी साँस ली। बारिश की खुशबू अभी भी हवा में थी। उसे लगा, जैसे प्रकृति उसे कह रही हो, "राजू, आज तुम नहीं भीग पाए, पर तुम्हारी जिम्मेदारियों ने तुम्हें और मजबूत बना दिया है।"

उस रात, राजू ने अपनी माँ को चाय पिलाई और अपनी बहन को कहानी सुनाई। उसके दिल में एक अजीब सी शांति थी। उसे पता था कि उसका रास्ता मुश्किल है, पर वह अकेला नहीं है। उसकी जिम्मेदारियाँ ही उसकी सबसे बड़ी ताकत थीं। और शायद, किसी दिन, वह भी बेपरवाह होकर बारिश में भीग पाएगा, जब उसकी जिम्मेदारियों का बोझ थोड़ा कम हो जाएगा।

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कहानी में राजू की अनुमानित उम्र क्या है?

A. पंद्रह साल
B. बारह साल
C. आठ साल
D. दस साल

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